Judges 4:3
तब इस्राएलियों ने यहोवा की दोहाई दी; क्योंकि सीसरा के पास लोहे के नौ सौ रथ थे, और वह इस्राएलियों पर बीस वर्ष तक बड़ा अन्धेर करता रहा।
Judges 4:3 in Other Translations
King James Version (KJV)
And the children of Israel cried unto the LORD: for he had nine hundred chariots of iron; and twenty years he mightily oppressed the children of Israel.
American Standard Version (ASV)
And the children of Israel cried unto Jehovah: for he had nine hundred chariots of iron; and twenty years he mightily oppressed the children of Israel.
Bible in Basic English (BBE)
Then the children of Israel made prayer to the Lord; for he had nine hundred iron war-carriages, and for twenty years he was very cruel to the children of Israel.
Darby English Bible (DBY)
Then the people of Israel cried to the LORD for help; for he had nine hundred chariots of iron, and oppressed the people of Israel cruelly for twenty years.
Webster's Bible (WBT)
And the children of Israel cried to the LORD; for he had nine hundred chariots of iron; and twenty years he mightily oppressed the children of Israel.
World English Bible (WEB)
The children of Israel cried to Yahweh: for he had nine hundred chariots of iron; and twenty years he mightily oppressed the children of Israel.
Young's Literal Translation (YLT)
and the sons of Israel cry unto Jehovah, for he hath nine hundred chariots of iron, and he hath oppressed the sons of Israel mightily twenty years.
| And the children | וַיִּצְעֲק֥וּ | wayyiṣʿăqû | va-yeets-uh-KOO |
| of Israel | בְנֵֽי | bĕnê | veh-NAY |
| cried | יִשְׂרָאֵ֖ל | yiśrāʾēl | yees-ra-ALE |
| unto | אֶל | ʾel | el |
| Lord: the | יְהוָ֑ה | yĕhwâ | yeh-VA |
| for | כִּ֠י | kî | kee |
| he had nine | תְּשַׁ֨ע | tĕšaʿ | teh-SHA |
| hundred | מֵא֤וֹת | mēʾôt | may-OTE |
| chariots | רֶֽכֶב | rekeb | REH-hev |
| of iron; | בַּרְזֶל֙ | barzel | bahr-ZEL |
| and twenty | ל֔וֹ | lô | loh |
| years | וְ֠הוּא | wĕhûʾ | VEH-hoo |
| he | לָחַ֞ץ | lāḥaṣ | la-HAHTS |
| mightily | אֶת | ʾet | et |
| oppressed | בְּנֵ֧י | bĕnê | beh-NAY |
| יִשְׂרָאֵ֛ל | yiśrāʾēl | yees-ra-ALE | |
| the children | בְּחָזְקָ֖ה | bĕḥozqâ | beh-hoze-KA |
| of Israel. | עֶשְׂרִ֥ים | ʿeśrîm | es-REEM |
| שָׁנָֽה׃ | šānâ | sha-NA |
Cross Reference
न्यायियों 1:19
और यहोवा यहूदा के साथ रहा, इसलिये उसने पहाड़ी देश के निवासियों निकाल दिया; परन्तु तराई के निवासियों के पास लोहे के रथ थे, इसलिये वह उन्हें न निकाल सका।
भजन संहिता 106:42
उन के शत्रुओं ने उन पर अन्धेर किया, और वे उनके हाथ तले दब गए।
न्यायियों 3:9
तब इस्राएलियों ने यहोवा की दोहाई दी, और उसने इस्राएलियों के लिये कालेब के छोटे भाई ओत्नीएल नाम एक कनजी छुड़ाने वाले को ठहराया, और उसने उन को छुड़ाया।
यिर्मयाह 2:27
वे काठ से कहते हैं, तू मेरा बाप है, और पत्थर से कहते हैं, तू ने मुझे जन्म दिया है। इस प्रकार उन्होंने मेरी ओर मुंह नहीं पीठ ही फेरी है; परन्तु विपत्ति के समय वे कहते हैं, उठ कर हमें बचा!
भजन संहिता 78:34
जब जब वह उन्हे घात करने लगता, तब तब वे उसको पूछते थे; और फिरकर ईश्वर को यत्न से खोजते थे।
भजन संहिता 50:15
और संकट के दिन मुझे पुकार; मैं तुझे छुड़ाऊंगा, और तू मेरी महिमा करने पाएगा॥
1 शमूएल 7:8
और इस्राएलियों ने शमूएल से कहा, हमारे लिये हमारे परमेश्वर यहोवा की दोहाई देना न छोड़, जिस से वह हम को पलिश्तियों के हाथ से बचाए।
न्यायियों 10:16
तब वे पराए देवताओं को अपके मध्य में से दूर करके यहोवा की उपासना करने लगे; और वह इस्राएलियोंके कष्ट के कारण खेदित हुआ।।
न्यायियों 5:8
नये नये देवता माने गए, उस समय फाटकों में लड़ाई होती थी। क्या चालीस हजार इस्राएलियों में भी ढ़ाल वा बर्छी कहीं देखने में आती थी?
न्यायियों 3:15
फिर इस्राएलियों ने यहोवा की दोहाई दी, और उसने गेरा के पुत्र एहूद नाम एक बिन्यामीनी को उनका छुड़ाने वाला ठहराया; वह बैंहत्था था। इस्राएलियों ने उसी के हाथ से मोआब के राजा एग्लोन के पास कुछ भेंट भेजी।
यहोशू 17:16
यूसुफ की सन्तान ने कहा, वह पहाड़ी देश हमारे लिये छोटा है; और क्या बेतसान और उसके नगरों में रहने वाले, क्या यिज्रेल की तराई में रहेन वाले, जितने कनानी नीचे के देश में रहते हैं, उन सभों के पास लोहे के रथ हैं।
व्यवस्थाविवरण 28:47
तू जो सब पदार्थ की बहुतायत होने पर भी आनन्द और प्रसन्नता के साथ अपने परमेश्वर यहोवा की सेवा नहीं करेगा,
व्यवस्थाविवरण 28:33
तेरी भूमि की उपज और तेरी सारी कमाई एक अनजाने देश के लोगे खा जाएंगे; और सर्वदा तू केवल अन्धेर सहता और पीसा जाता रहेगा;
व्यवस्थाविवरण 28:29
और जैसे अन्धा अन्धियारे में टटोलता है वैसे ही तू दिन दुपहरी में टटोलता फिरेगा, और तेरे काम काज सफल न होंगे; और तू सदैव केवल अन्धेर सहता और लुटता ही रहेगा, और तेरा कोई छुड़ाने वाला न होगा।