भजन संहिता 90:4
क्योंकि हजार वर्ष तेरी दृष्टि में ऐसे हैं, जैसा कल का दिन जो बीत गया, वा रात का एक पहर॥
For | כִּ֤י | kî | kee |
a thousand | אֶ֪לֶף | ʾelep | EH-lef |
years | שָׁנִ֡ים | šānîm | sha-NEEM |
sight thy in | בְּֽעֵינֶ֗יךָ | bĕʿênêkā | beh-ay-NAY-ha |
are but as | כְּי֣וֹם | kĕyôm | keh-YOME |
yesterday | אֶ֭תְמוֹל | ʾetmôl | ET-mole |
when | כִּ֣י | kî | kee |
it is past, | יַעֲבֹ֑ר | yaʿăbōr | ya-uh-VORE |
watch a as and | וְאַשְׁמוּרָ֥ה | wĕʾašmûrâ | veh-ash-moo-RA |
in the night. | בַלָּֽיְלָה׃ | ballāyĕlâ | va-LA-yeh-la |