English
Psalm 115:17 छवि
मृतक जितने चुपचाप पड़े हैं, वे तो याह की स्तुति नहीं कर सकते,
मृतक जितने चुपचाप पड़े हैं, वे तो याह की स्तुति नहीं कर सकते,
मृतक जितने चुपचाप पड़े हैं, वे तो याह की स्तुति नहीं कर सकते,