Leviticus 17:10
फिर इस्त्राएल के घराने के लोगों में से वा उनके बीच रहने वाले परदेशियों में से कोई मनुष्य क्यों न हो जो किसी प्रकार का लोहू खाए, मैं उस लोहू खाने वाले के विमुख हो कर उसको उसके लोगों के बीच में से नाश कर डालूंगा।
Leviticus 17:10 in Other Translations
King James Version (KJV)
And whatsoever man there be of the house of Israel, or of the strangers that sojourn among you, that eateth any manner of blood; I will even set my face against that soul that eateth blood, and will cut him off from among his people.
American Standard Version (ASV)
And whatsoever man there be of the house of Israel, or of the strangers that sojourn among them, that eateth any manner of blood, I will set my face against that soul that eateth blood, and will cut him off from among his people.
Bible in Basic English (BBE)
And if any man of Israel, or any other living among them, takes any sort of blood for food, my wrath will be turned against that man and he will be cut off from among his people.
Darby English Bible (DBY)
And every one of the house of Israel, or of the strangers who sojourn among them, that eateth any manner of blood, -- I will set my face against the soul that hath eaten blood, and will cut him off from among his people;
Webster's Bible (WBT)
And whatever man there may be of the house of Israel, or of the strangers that sojourn among you, that eateth any manner of blood; I will even set my face against that soul that eateth blood, and will cut him off from among his people.
World English Bible (WEB)
"'Any man of the house of Israel, or of the strangers who live as foreigners among them, who eats any kind of blood, I will set my face against that soul who eats blood, and will cut him off from among his people.
Young's Literal Translation (YLT)
`And any man of the house of Israel, or of the sojourners, who is sojourning in your midst, who eateth any blood, I have even set My face against the person who is eating the blood, and have cut him off from the midst of his people;
| And whatsoever man | וְאִ֨ישׁ | wĕʾîš | veh-EESH |
| אִ֜ישׁ | ʾîš | eesh | |
| house the of be there | מִבֵּ֣ית | mibbêt | mee-BATE |
| of Israel, | יִשְׂרָאֵ֗ל | yiśrāʾēl | yees-ra-ALE |
| of or | וּמִן | ûmin | oo-MEEN |
| the strangers | הַגֵּר֙ | haggēr | ha-ɡARE |
| that sojourn | הַגָּ֣ר | haggār | ha-ɡAHR |
| among | בְּתוֹכָ֔ם | bĕtôkām | beh-toh-HAHM |
| that you, | אֲשֶׁ֥ר | ʾăšer | uh-SHER |
| eateth | יֹאכַ֖ל | yōʾkal | yoh-HAHL |
| any manner | כָּל | kāl | kahl |
| blood; of | דָּ֑ם | dām | dahm |
| I will even set | וְנָֽתַתִּ֣י | wĕnātattî | veh-na-ta-TEE |
| face my | פָנַ֗י | pānay | fa-NAI |
| against that soul | בַּנֶּ֙פֶשׁ֙ | bannepeš | ba-NEH-FESH |
| that eateth | הָֽאֹכֶ֣לֶת | hāʾōkelet | ha-oh-HEH-let |
| אֶת | ʾet | et | |
| blood, | הַדָּ֔ם | haddām | ha-DAHM |
| off him cut will and | וְהִכְרַתִּ֥י | wĕhikrattî | veh-heek-ra-TEE |
| אֹתָ֖הּ | ʾōtāh | oh-TA | |
| from among | מִקֶּ֥רֶב | miqqereb | mee-KEH-rev |
| his people. | עַמָּֽהּ׃ | ʿammāh | ah-MA |
Cross Reference
Leviticus 3:17
यह तुम्हारे निवासों में तुम्हारी पीढ़ी पीढ़ी के लिये सदा की विधि ठहरेगी कि तुम चरबी और लोहू कभी न खाओ॥
Genesis 9:4
पर मांस को प्राण समेत अर्थात लोहू समेत तुम न खाना।
Deuteronomy 12:16
परन्तु उसका लोहू न खाना; उसे जल की नाईं भूमि पर उंडेल देना।
Deuteronomy 12:23
परन्तु उनका लोहू किसी भांति न खाना; क्योंकि लोहू जो है वह प्राण ही है, और तू मांस के साथ प्राण कभी भी न खाना।
1 Samuel 14:33
जब इसका समाचार शाऊल को मिला, कि लोग लोहू समेत मांस खाकर यहोवा के विरुद्ध पाप करते हैं। तब उसने उन से कहा; तुम ने तो विश्वासघात किया है; अभी एक बड़ा पत्थर मेरे पास लुढ़का दो।
Jeremiah 44:11
इस कारण इस्राएल का परमेश्वर, सेनाओं का यहोवा, यों कहता है, देखो, मैं तुम्हारे विरुद्ध हो कर तुम्हारी हानि करूंगा, ताकि सब यहूदियों का अन्त कर दूं।
Ezekiel 15:7
मैं उन से विरुद्ध हूंगा, और वे एक आग में से निकल कर फिर दूसरी आग का ईन्धन हो जाएंगे; और जब मैं उन से विमुख हूंगा, तब तुम लोग जान लोगे कि मैं यहोवा हूँ।
Ezekiel 14:8
और मैं उस मनुष्य के विरुद्ध हो कर उसको विस्मित करूंगा, और चिन्ह ठहराऊंगा; और उसकी कहावत चलाऊंगा और उसे अपनी प्रजा में से नाश करूंगा; तब तुम लोग जान लोगे कि मैं यहोवा हूँ।
Psalm 34:16
यहोवा बुराई करने वालों के विमुख रहता है, ताकि उनका स्मरण पृथ्वी पर से मिटा डाले।
Leviticus 26:17
और मैं भी तुम्हारे विरुद्ध हो जाऊंगा, और तुम अपने शत्रुओं से हार जाओगे; और तुम्हारे बैरी तुम्हारे ऊपर अधिकार करेंगे, और जब कोई तुम को खदेड़ता भी न होगा तब भी तुम भागोगे।
Leviticus 7:26
ओर तुम अपने घर में किसी भांति का लोहू, चाहे पक्षी का चाहे पशु का हो, न खाना।
Hebrews 10:29
तो सोच लो कि वह कितने और भी भारी दण्ड के योग्य ठहरेगा, जिस ने परमेश्वर के पुत्र को पांवों से रौंदा, और वाचा के लोहू को जिस के द्वारा वह पवित्र ठहराया गया था, अपवित्र जाना है, और अनुग्रह की आत्मा का अपमान किया।
Leviticus 19:26
तुम लोहू लगा हुआ कुछ मांस न खाना। और न टोना करना, और न शुभ वा अशुभ मुहूर्तों को मानना।
Leviticus 20:3
और मैं भी उस मनुष्य के विरुद्ध हो कर उसको उसके लोगों में से इस कारण नाश करूंगा, कि उसने अपनी सन्तान मोलेक को देकर मेरे पवित्रस्थान को अशुद्ध किया, और मेरे पवित्र नाम को अपवित्र ठहराया।
Deuteronomy 15:23
परन्तु उसका लोहू न खाना; उसे जल की नाईं भूमि पर उंडेल देना॥
Jeremiah 21:10
क्योंकि यहोवा की यह वाणी है कि मैं ने इस नगर की ओर अपना मुख भलाई के लिये नहीं, वरन बुराई ही के लिये किया है; यह बाबुल के राजा के वश में पड़ जाएगा, और वह इस को फुंकवा देगा।
Ezekiel 33:25
इस कारण तू उन से कह, परमेश्वर यहोवा यों कहता है, तुम लोग तो मांस लोहू समेत खाते और अपनी मूरतों की ओर दृष्टि करते, और हत्या करते हो; फिर क्या तुम उस देश के अधिकारी रहने पाओगे?
Ezekiel 44:7
जब तुम मेरा भोजन अर्थात चर्बी और लोहू चढ़ाते थे, तब तुम बिराने लोगों को जो मन और तन दोनों के खतनाहीन थे, मेरे पवित्रस्थान में आने देते थे कि वे मेरा भवन अपवित्र करें; और उन्होंने मेरी वाचा को तोड़ दिया जिस से तुम्हारे सब घृणित काम बढ़ गए।
Acts 15:20
परन्तु उन्हें लिख भेंजें, कि वे मूरतों की अशुद्धताओं और व्यभिचार और गला घोंटे हुओं के मांस से और लोहू से परे रहें।
Acts 15:29
कि तुम मूरतों के बलि किए हुओं से, और लोहू से, और गला घोंटे हुओं के मांस से, और व्यभिचार से, परे रहो। इन से परे रहो; तो तुम्हारा भला होगा आगे शुभ॥
Leviticus 17:11
क्योंकि शरीर का प्राण लोहू में रहता है; और उसको मैं ने तुम लोगों को वेदी पर चढ़ाने के लिये दिया है, कि तुम्हारे प्राणों के लिये प्रायश्चित्त किया जाए; क्योंकि प्राण के कारण लोहू ही से प्रायश्चित्त होता है।