Acts 2:1 in Hindi

Hindi Hindi Bible Acts Acts 2 Acts 2:1

Acts 2:1
जब पिन्तेकुस का दिन आया, तो वे सब एक जगह इकट्ठे थे।

Acts 2Acts 2:2

Acts 2:1 in Other Translations

King James Version (KJV)
And when the day of Pentecost was fully come, they were all with one accord in one place.

American Standard Version (ASV)
And when the day of Pentecost was now come, they were all together in one place.

Bible in Basic English (BBE)
And when the day of Pentecost was come, they were all together in one place.

Darby English Bible (DBY)
And when the day of Pentecost was now accomplishing, they were all together in one place.

World English Bible (WEB)
Now when the day of Pentecost had come, they were all with one accord in one place.

Young's Literal Translation (YLT)
And in the day of the Pentecost being fulfilled, they were all with one accord at the same place,

And
Καὶkaikay

ἐνenane
when
the
fully
was
τῷtoh
day
συμπληροῦσθαιsymplērousthaisyoom-play-ROO-sthay

of
τὴνtēntane
Pentecost
ἡμέρανhēmeranay-MAY-rahn
come,
τῆςtēstase

πεντηκοστῆςpentēkostēspane-tay-koh-STASE
they
ἦσανēsanA-sahn
were
ἅπαντεςhapantesA-pahn-tase
all
ὁμοθυμαδὸνhomothymadonoh-moh-thyoo-ma-THONE
accord
one
with
ἐπὶepiay-PEE
in
τὸtotoh

one
place.
αὐτόautoaf-TOH

Cross Reference

1 Corinthians 16:8
परन्तु मैं पेन्तिकुस्त तक इफिसुस में रहूंगा।

Romans 15:6
ताकि तुम एक मन और एक मुंह होकर हमारे प्रभु यीशु मसीह के पिता परमेश्वर की बड़ाई करो।

Acts 20:16
क्योंकि पौलुस ने इफिसुस के पास से होकर जाने की ठानी थी, कि कहीं ऐसा न हो, कि उसे आसिया में देर लगे; क्योंकि वह जल्दी करता था, कि यदि हो सके, तो उसे पिन्तेकुस का दिन यरूशलेम में कटे॥

Acts 1:13
और जब वहां पहुंचे तो वे उस अटारी पर गए, जहां पतरस और यूहन्ना और याकूब और अन्द्रियास और फिलेप्पुस और थोमा और बरतुलमाई और मत्ती और हलफई का पुत्र याकूब और शमौन जेलोतेस और याकूब का पुत्र यहूदा रहते थे।

Acts 4:32
और विश्वास करने वालों की मण्डली एक चित्त और एक मन के थे यहां तक कि कोई भी अपनी सम्पति अपनी नहीं कहता था, परन्तु सब कुछ साझे का था।

Philippians 1:27
केवल इतना करो कि तुम्हारा चाल-चलन मसीह के सुसमाचार के योग्य हो कि चाहे मैं आकर तुम्हें देखूं, चाहे न भी आऊं, तुम्हारे विषय में यह सुनूं, कि तुम एक ही आत्मा में स्थिर हो, और एक चित्त होकर सुसमाचार के विश्वास के लिये परिश्रम करते रहते हो।

Philippians 2:2
तो मेरा यह आनन्द पूरा करो कि एक मन रहो और एक ही प्रेम, एक ही चित्त, और एक ही मनसा रखो।

Exodus 34:22
और तू अठवारों का पर्ब्ब मानना जो पहिले लवे हुए गेहूं का पर्ब्ब कहलाता है, और वर्ष के अन्त में बटोरन का भी पर्ब्ब मानना।

Zephaniah 3:9
और उस समय मैं देश-देश के लोगों से एक नई और शुद्ध भाषा बुलवाऊंगा, कि वे सब के सब यहोवा से प्रार्थना करें, और एक मन से कन्धे से कन्धा मिलाए हुए उसकी सेवा करें।

Jeremiah 32:39
मैं उन को एक ही मन और एक ही चाल कर दूंगा कि वे सदा मेरा भय मानते रहें, जिस से उनका और उनके बाद उनके वंश का भी भला हो।

2 Chronicles 30:12
और यहूदा में भी परमेश्वर की ऐसी शक्ति हुई, कि वे एक मन हो कर, जो आज्ञा राजा और हाकिमों ने यहोवा के वचन के अनुसार दी थी, उसे मानने को तैयार हुए।

Deuteronomy 16:9
फिर जब तू खेत में हंसुआ लगाने लगे, तब से आरम्भ करके सात अठवारे गिनना।

Leviticus 23:15
फिर उस विश्रामदिन के दूसरे दिन से, अर्थात जिस दिन तुम हिलाई जाने वाली भेंट के पूले को लाओगे, उस दिन से पूरे सात विश्रामदिन गिन लेना;

Numbers 28:16
फिर पहिले महीने के चौदहवें दिन को यहोवा का फसह हुआ करे।

2 Chronicles 5:13
तो जब तुरहियां बजाने वाले और गाने वाले एक स्वर से यहोवा की स्तुति और धन्यवाद करने लगे, और तुरहियां, झांझ आदि बाजे बजाते हुए यहोवा की यह स्तुति ऊंचे शब्द से करने लगे, कि वह भला है और उसकी करुणा सदा की है, तब यहोवा के भवन मे बादल छा गया,

Psalm 133:1
देखो, यह क्या ही भली और मनोहर बात है कि भाई लोग आपस में मिले रहें!

Acts 2:46
और वे प्रति दिन एक मन होकर मन्दिर में इकट्ठे होते थे, और घर घर रोटी तोड़ते हुए आनन्द और मन की सीधाई से भोजन किया करते थे।

Acts 4:24
यह सुनकर, उन्होंने एक चित्त होकर ऊंचे शब्द से परमेश्वर से कहा, हे स्वामी, तू वही है जिस ने स्वर्ग और पृथ्वी और समुद्र और जो कुछ उन में है बनाया।

Acts 5:12
और प्रेरितों के हाथों से बहुत चिन्ह और अद्भुत काम लोगों के बीच में दिखाए जाते थे, (और वे सब एक चित्त होकर सुलैमान के ओसारे में इकट्ठे हुआ करते थे।

Exodus 23:16
और जब तेरी बोई हुई खेती की पहिली उपज तैयार हो, तब कटनी का पर्ब्ब मानना। और वर्ष के अन्त में जब तू परिश्रम के फल बटोर के ढेर लगाए, तब बटोरन का पर्ब्ब मानना।